चंडीगढ़, 17 अक्तूबर- हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल ने कहा कि हरियाणा के दूसरे जिलों में भी पीपीपी मोड में सैनिक स्कूल खोले जायेंगे। इससे हरियाणा के युवाओं की सेना में भागीदारी बढ़ेगी और बड़ी संख्या में अग्निवीर तैयार होंगे। उन्होंने कुंजपुरा के सैनिक स्कूल को आधारभूत ढांचे के लिए 10 करोड़ रुपए की ग्रांट देने की घोषणा की।
मुख्यमंत्री आज करनाल में कुंजपुरा के सैनिक स्कूल में आयोजित अखिल भारतीय सैनिक स्कूल राष्ट्रीय खेल-2023 के समापन समारोह में बतौर मुख्य अतिथि बोल रहे थे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा में पहली बार अखिल भारतीय सैनिक स्कूल राष्ट्रीय खेल प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया है। यह गर्व की बात है। इस प्रतियोगिता के आयोजन से प्रतिभागी खिलाडिय़ों में से कई को राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं के लिए चयन का मौका मिलेगा। उन्होंने कहा कि यहां आयोजित विभिन्न प्रतियोगिताओं में देश के विभिन्न सैनिक स्कूलों के 650 खिलाडिय़ों ने हिस्सा लिया।
उन्होंने कहा कि खेल हमें अनुशासन, दृढ़ निश्चयी होना सिखाते हैं। खेल प्रतियोगिताओं से खिलाडिय़ों को अपनी दक्षता और क्षमता साबित करने का मौका मिलता है। साथ ही एक-दूसरे की भावनाओं, मान्यताओं, रहन-सहन आदि की जानकारी मिलती है, जिससे राष्ट्रीय एकता को मजबूती मिलती है।
श्री मनोहर लाल ने कहा कि पहली बार इन प्रतियोगिताओं में गर्ल्स कैडेट्स ने भी भाग लिया जो नारी सशक्तिकरण का पर्याय है। यह बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ की भावना को भी चरितार्थ करता है। प्रधानमंत्री ने 2015 में हरियाणा से ही बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ का नारा दिया था। प्रधानमंत्री की प्रेरणा से बेटियों को भी तीन साल पहले सैनिक स्कूलों में दाखिला मिलना शुरू हुआ। आज हर क्षेत्र में लड़कियां बुलंदियों के झंडे गाड़ रही हैं। उन्होंने उम्मीद जताई कि यहां से खिलाड़ी नई प्रेरणा लेकर जायेंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने हरियाणा को स्पोर्ट्स पावर हाउस बनाने के लिये खेल संस्कृति को विकसित किया है। ग्राम से लेकर राज्य स्तर तक खेलों का बेहतरीन इंफ्रास्ट्रक्चर तैयार किया गया है। हरियाणा में जय जवान, जय किसान के साथ-साथ जय पहलवान के नारे को भी सार्थक किया है। उन्होंने कहा कि हरियाणा का जवान, किसान और पहलवान तीनों धाकड़ हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हाल ही में चीन में आयोजित 19वें एशियाई खेलों में हरियाणा के खिलाडिय़ों ने 107 में से 30 पदक जीते हैं जोकि हरियाणा प्रदेश के लिए गौरव की बात है। उन्होंने कहा कि हरियाणा खेलों का हब बन चुका है, खेल खिलाड़ी हरियाणा का अटूट संबंध है।
उन्होंने कहा कि देश में सैनिक स्कूलों की स्थापना 1961 से की गई। तब से एनडीए, आईएमए, ओटीए, आईएएनए, एएफए और अन्य प्रतिष्ठित रक्षा संस्थानों में कैडेटों को शामिल करने में सराहनीय योगदान दे रहे हैं। खुशी की बात यह कि सैनिक स्कूल सैन्य प्रशिक्षण के साथ-साथ न केवल अच्छी शिक्षा प्रदान कर रहे हैं बल्कि विद्यार्थियों के चहुंमुखी विकास को भी सुनिश्चित कर रहे हैं। इन स्कूलों से शिक्षा प्राप्त विद्यार्थियों ने भारतीय प्रशासनिक सेवाओं, न्यायपालिका, चिकित्सा, इंजीनियरिंग सेवाओं के साथ-साथ राजनीति में भी नाम कमाया है।
श्री मनोहर लाल ने कहा कि हरियाणा को सैनिकों की खान कहा जाता है। सेना में भर्ती होने वाला हर 10वां जवान हरियाणा से है। वर्ष 2008 में रेवाड़ी जिला में दूसरा सैनिक स्कूल खोला गया। झज्जर के मातनहेल में भी सैनिक स्कूल खोलने जा रहे हैं। इसके लिये 2021 में 61 एकड़ जमीन दी जा चुकी है। उन्होंने खिलाडिय़ों से कहा कि वे यहां की मिट्टी से ऐसा अनुभव भी लेकर जायेंगे जो भविष्य में उन्हें बुलंदियों तक पहुंचाने में सहायक होगा।
इस दौरान सैनिक स्कूल कुंजपुरा के प्रिंसिपल विजय राणा ने संबोधन के साथ स्वागत किया और स्कूल की उपलब्धियों पर प्रकाश डाला। उन्होंने विजेता टीम खिलाडिय़ों को शुभकामनाएं एवं बधाई दी।
मुख्यमंत्री ने बास्केटबॉल, वॉलीबॉल, हॉकी में प्रथम व दूसरे स्थान पर रहने वाली टीमों को ट्रॉफी देकर सम्मानित किया। इसके अलावा वालीबाल में नगरोटा सैनिक स्कूल के इखलाक हसन, बास्केटबॉल में कुंजपुरा के अमन मलिक, हॉकी में तिलैया के शुभम कुमार को श्रेष्ठ खिलाड़ी और तिलैया के ही सचिन को बेस्ट गोलकीपर के रूप में सम्मानित किया। उन्होंने ओवर आल स्कूल के रूप में सैनिक स्कूल तिलैया और ओवरआल ग्रुप में डी ग्रुप को भी ट्रॉफी से नवाजा। सांस्कृतिक कार्यक्रम के लिये कुंजपुरा सैनिक स्कूल की टीम को ट्राफी प्रदान की गई। खेलों में 30 से अधिक सैनिक स्कूलों के करीब 650 खिलाडिय़ों ने भाग लिया। इससे पूर्व प्रतिभागियों ने मार्च पास्ट किया।
इस मौके पर घरौंडा के विधायक श्री हरविंद्र कल्याण, मेयर श्रीमती रेनू बाला गुप्ता, उपायुक्त श्री अनीश यादव, एसपी श्री शशांक कुमार सावन, नगर निगम आयुक्त श्री अभिषेक मीणा, सैनिक स्कूल सोसायटी के निरीक्षण अधिकारी एयद कमोडोर एस. जैकब आदि मौजूद थे।