मंगलवार, October 6, 2020

चंडीगढ़, 5 अक्टूबर- हरियाणा सरकार राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में प्राकृतिक संरक्षण क्षेत्रों के तहत वन, कृषि और हरित क्षेत्र की जमीनी सच्चाई (ग्राउंड रिपोर्ट) का सैटेलाईट इमेज और राजस्व रिकॉर्ड के साथ मिलान करेगी।

हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल ने यह जानकारी आज यहां वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से केंद्रीय आवास और शहरी मामलों के राज्य मंत्री श्री हरदीप सिंह पुरी की अध्यक्षता में हुई राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र योजना बोर्ड (एनसीआरपीबी) की 39 वीं बैठक के दौरान दी। बैठक में दिल्ली, उत्तर प्रदेश और राजस्थान सहित अन्य राज्यों के बोर्ड के सदस्य भी शामिल हुए।

बैठक में एनसीआर क्षेत्र, सब-रीजनल योजनाओं, हरियाणा के राष्ट्रीय संरक्षण क्षेत्र से संबंधित विभिन्न मुद्दों पर गहन चर्चा हुई। इसके अलावा, एनसीआर में जल संरक्षण जैसे यमुना नदी में प्रदूषित जल स्तर और सडक़ दुर्घटनाओं में वृद्धि दर जैसे विभिन्न मुद्दों पर भी विस्तार से चर्चा की गई।

श्री हरदीप सिंह पुरी ने मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल के नेतृत्व में राज्य सरकार द्वारा एनसीआर परियोजना को सफल बनाने के लिए किए जा रहे प्रयासों की सराहना की। उन्होंने कहा कि हरियाणा सरकार द्वारा किए गए कार्य बहुत ही प्रेरणादायक हैं, जोकि मुख्यमंत्री और प्रशासनिक अधिकारियों की कार्य के प्रति समर्पण को दर्शाता है। उन्होंने अन्य राज्यों से भी हरियाणा की कार्यशैली को अपनाने का अनुरोध किया।

राज्य सरकार द्वारा किए गए कार्यों की सराहना करने के लिए श्री हरदीप सिंह पुरी का आभार व्यक्त करते हुए मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल ने आश्वासन दिया कि रीजनल प्लान-2041 के प्रारूप में भी सक्रिय भागीदारी सुनिश्चित करते हुए हरियाणा सरकार तेजी से कार्य करेगी।

बैठक में हरियाणा के मुख्य सचिव श्री विजय वर्धन, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव श्री राजेश खुल्लर, वन एवं वन्यजीव विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री आलोक निगम, सिंचाई और जल संसाधन विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री देवेंद्र सिंह, आवास विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री टी. सी. गुप्ता, शहरी स्थानीय निकाय विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री एस. एन. रॉय, गृह और स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री राजीव अरोड़ा, मुख्यमंत्री के अतिरिक्त प्रधान सचिव श्री वी. उमाशंकर, परिवहन विभाग के प्रधान सचिव श्री अनुराग रस्तोगी, नगर एवं ग्राम आयोजना विभाग के निदेशक श्री के. मकरंद पांडुरंग सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।